ऑपरेशन सिंदूर के सफलता के बाद बिक्रमगंज पहुचे प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने एक विशाल जनसभा को संबोधित किया। इस दौरान पीएम मोदी ने कहा कि ऑपरेशन सिंदूर तरकश का बस एक तीर है। इस दौरान पीएम मोदी ने पाकिस्तान पर खूब निशाना साधा। पीएम मोदी ने इस दौरान कई परियोजनाओं का शिलान्यास किया और उद्घाटन किया। पीएम मोदी ने अपने भाषण की शुरुआत भोजपुरी भाषा में जनता को प्रणाम करने से की। उन्होंने कहा कि बिहार के मेहनती जनता के हमार प्रणाम। पीएम मोदी ने कहा कि आज मुझे इस पवित्र भूमि पर बिहार के विकास को नई गति देने का सौभाग्य मिला है। यहां करीब करीब 50 हजार करोड़ रुपये से ज्यादा की परियोजनाओं का लोकार्पण और शिलान्यास हुआ है। बड़ी संख्या में आप सब हमें आशीर्वाद देने आए हैं। आपका ये स्नेह, बिहार का ये प्यार, मैं हमेशा सर आंखों पर रखता हूं। आज बिहार में इतनी बड़ी तादाद में माताओं और बहनों का आना यह अपने आप में बिहार के मेरे इतनी कार्यक्रमों की ये सबसे बड़ी शानदार घटना है। मैं माताओं-बहनों को विशेष प्रणाम करता हूं। पीएम मोदी ने कहा कि सासाराम की इस धरती के नाम में भी राम है। सासाराम के लोग जानते हैं भगवान राम और उनके कुल की रीति क्या थी। प्राण जाए पर वचन ना जाई। यानि जो वचन एक बार दे दिया, वो पूरा होकर के ही रहता है। प्रभु श्रीराम की ये रीति अब नए भारत की नीति बन गई है। अभी पहलगाम में आतंकी हमला हुआ था। हमारे कितने निर्दोष नागरिक मारे गए। इस जघन्य आतंकी हमले के एक दिन के बाद मैं बिहार आया था। मैंने बिहार की धरती से देश को वादा किया था, वचन दिया था बिहार की धरती पर आंख में आंख मिलाकर हमने कह दिया था कि आतंक के आकाओं के ठिकानों को मिट्टी में मिला दिया जाएगा। पीएम मोदी ने आगे कहा कि जिन लोगों ने पाकिस्तान में बैठकर हमारी बहनों का सिंदूर उजाड़ा था, हमारी सेना ने उनके ठिकानों को खंडहर में बदल दिया है। भारत की बेटियों के सिंदूर की शक्ति क्या होती है ये पाकिस्तान ने भी देखा और दुनिया ने भी देखा। पाकिस्तानी सेना की छत्रछाया में आतंकी खुद को सुरक्षित मानते थे। हमारी सेनाओं ने एक ही झटके में उनको भी घुटनों पर ला दिया। पाकिस्तान के एयरबेस, उनके सैन्य ठिकानें, हमने कुछ ही मिनट में तबाह कर दिए। ये नया भारत है, ये नए भारत की ताकत है। ये हमारा बिहार वीर कुंवर सिंह की धरती है। यहां के हजारों नौजवान देश की सुरक्षा के लिए सेना में, बीएसएफ में अपनी जवानी खपा देते हैं। ऑपरेशन सिंदूर में दुनिया ने हमारी बीएसएफ का भी अभूतपूर्व पराक्रम और अदम्य साहस देखा है। उन्होने कहा कि हमारी सीमाओं पर तैनात बीएसएफ के जांबाज सुरक्षा की अभेद चट्टान हैं। मां भारती की रक्षा हमारे बीएसएफ के जवानों के लिए सर्वोपरि है। यही मातृभूमि की सेवा का पवित्र कर्तव्य निभाते हुए 10 मई को सीमा पर बीएसएफ के सब इंस्पेक्टर इम्तियाज शहीद हो गए थे। मैं बिहार के इस वीर बेटे को आदरपूर्वक श्रद्धांजलि देता हूं। बिहार की धरती से फिर दोहराना चाहता हूं, ऑपरेशन सिंदूर में भारत की जो ताकत दुश्मन ने देखी है, लेकिन दुश्मन समझ लें ये तो हमारे तरकश का केवल एक ही तीर है। आतंकवाद के खिलाफ भारत की लड़ाई न रूकी है, ना थमी है। आतंक का फन अगर फिर उठेगा तो भारत उसे बिल से खींचकर कुचलने का काम करेगा। उन्होंने कहा कि हमारी लड़ाई देश के हर दुश्मन से है। फिर वह चाहे सीमा पार हो या देश के भीतर हो। बीते वर्षों में हमने हिंसा और अशांति फैलाने वालों का ऐसे खात्मा किया कि बिहार के लोग इसके साक्षी हैं। कुछ साल पहले तक सासाराम, कैमूर और आसपास के इन जिलों में क्या हालात थे। नक्सलवाद कैसे हावी था। मुंह पर नकाब लगाए हाथों में बंदूक थामें नक्सली कब कहां सड़कों पर निकल आएं, हर किसी को ये खौफ रहता था। सरकारी योजना आती थी, तो नागरिकों तक पहुंचती ही नहीं थी। नक्सल प्रभावित गांव में न तो अस्पताल होता था, ना मोबाइल टावर। कभी स्कूल जलाए जाते थे, कभी सड़क बनाने वालों को मार दिया जाता था। उन्होने कहा कि इन लोगों का बाबा साहब आंबेडकर के संविधान पर कोई विश्वास नहीं था। नीतीश कुमार ने उन परिस्थितियों में यहां विकास की पूरी कोशिश की। 2014 के बाद से हमने इस दिशा में और तेजी से काम किया। हमने माओवादियों को उनके किए की सजा देनी शुरू की। हम युवाओं को विकास की मुख्यधारा में भी लेकर आए। 11 सालों की प्रतिज्ञा का फल आज देश को मिलना शुरू हुआ है। 2014 से पहले देश में सवा सौ से ज्यादा जिले नक्सल प्रभावित थे। अब सिर्फ 18 जिले नक्सल प्रभावित बचे हैं। अब सरकार सड़क भी दे रही है, रोजगार भी दे रही है। वो दिन दूर नहीं जब माओवादी हिंसा का पूरी तरह से खात्मा हो जाएगा। उन्होने कहा कि शांति, सुरक्षा, शिक्षा और विकास गांव-गांव तक बिना रुकावट के पहुंचेंगे। जब सुरक्षा व शांति आती है तभी विकास के नए रास्ते खुलते हैं। यहां नीतीश कुमार के नेतृत्व में जब जंगलराज वाली सरकार की विदाई हुई तो बिहार भी प्रगति के मार्ग पर आगे बढ़ने लगा। टूटे हाईवे, खराब रेलवे, गिनी चुनी फ्लाइट कनेक्टिविटी, वो डर और वो दौर अब इतिहास बन चुका है। कभी बिहार में एक ही एयरपोर्ट था पटना में। आज दरभंगा एयरपोर्ट भी बनकर तैयार हो गया है। बिहार के लोगों की लंबे समय से मांग थी कि पटना एयरपोर्ट के टर्मिनल को आधुनिक बनाया जाए। अब ये मांग भी पूरी हो गई है। उन्होने कहा कि पटना एयरपोर्ट का नया टर्मिनल 1 करोड़ यात्रियों को संभाल सकता है। हर तरफ तेजी से काम हो रहा है। हजारों करोड़ की परियोजनाएँ बिहार में नए अवसर और संभावनाओं का निर्माण कर रही हैं। इन प्रोजेक्ट से हजारों युवाओं को रोजगार मिलेगा। यहां टूरिज्म और व्यापार दोनों को फायदा होगा। बिहार में रेलवे की हालत भी अब तेजी से बदल रही है। आज बिहार में वंदे भारत ट्रेनें चल रही हैं। रेलवे लाइनों को डबल … Read more