जिला स्तरीय विधि व्यवस्था की बैठक आयोजित की गई
अरवल। जिला पदाधिकारी अरवल श्रीमती वर्षा सिंह की अध्यक्षता में छठ पर्व के अवसर पर जिला स्तरीय विधि व्यवस्था की बैठक समाहरणालय सभाकक्ष में आयोजित की गई। सर्वप्रथम जिला पदाधिकारी द्वारा उपस्थित सभी लोगों को छठ पर्व की शुभकामनाएं दी गई । बैठक मुख्य रूप से सभी छठ घाटों पर संयुक्त रूप से प्रतिनियुक्त किये गये दण्डाधिकारी, पुलिस पदाधिकारी, कर्मी एवं गोताखोरों के समन्वय से संबंधित थी। जिसमें जिला पदाधिकारी द्वारा सभी दण्डाधिकारियों से बारी-बारी से उनके प्रतिनियुक्त छठ घाट स्थल के व्यवस्थाओं के बारे में पृच्छा की गई एवं निदेश दिया गया कि सभी घाटों पर बैरिकेडिंग, चेंजिंग रूम, यातायात वाहन पार्किंग, साफ सफाई की समुचित व्यवस्था कराना सुनिश्चित करेंगे। उपस्थित दण्डाधिकारियों, पुलिस पदाधिकारियों एवं कर्मियों से पृच्छा एवं विचार विमर्श लेने के बाद जिलाधिकारी ने सभी को निदेश दिया गया कि सभी जगहों पर उचित लाईटिंग की व्यवस्था होनी चाहिए। उन्होंने आगे बताया कि सभी खतरनाक सोनतटीय घाटों एवं अन्य घाटों को चिन्हित कर बैरिकेडिंग का कार्य किया जाये। सभी घाटों को अच्छी तरह से साफ सुथरा रखना है तथा पर्याप्त मात्रा में लाईट की व्यवस्था करनी है। सांस्कृतिक कार्यक्रमों के आयोजन हेतु अनुज्ञप्ति की अनिवार्यता रहेगी। सभी छठ घाटों पर एक-एक कॉन्ट्रोल रूम की व्यवस्था लाउडस्पीकर के साथ की जाए। सभी प्रखण्ड विकास पदाधिकारी, अंचलाधिकारी एवं पुलिस पदाधिकारियों को निदेशित किया गया कि सभी छठ घाट जाने वाले रास्तों का उचित तरीके से निरीक्षण करें एवं महत्वपूर्ण छठ घाटों पर जहाँ भीड़ की संभावना ज्यादा रहती है, वहाँ पर यातायात, पार्किंग, गोताखोर का विशेष ध्यान रखेंगे । जिला पदाधिकारी द्वारा निदेशित किया गया कि जिन छठ घाटों पर गहराई एवं खतरे की संभावना है, वहाँ पर खतरे के निशान वाला फ्लैक्स, बैनर एवं सूचना पट्ट प्रदर्शित करना सुनिश्चित करेंगे । सभी उपस्थित पदाधिकारियों को यह निदेशित किया गया कि छठ पूजा के दौरान पुरी सर्तकता से विधि व्यवस्था का ध्यान रखेंगे एवं छठ पूजा खत्म होने के बाद कम से कम कुछ घंटों तक छठ घाट पर उपस्थित रहना सुनिश्चित करेंगे। जिससे की किसी भी तरह की जानमाल की हानि ना होने पायें। बैठक में पुलिस अधीक्षक, अपर समाहर्ता, जिला आपूर्ति पदाधिकारी उप विकास आयुक्त विशेष कार्य पदाधिकारी भूमि सुधार उप समाहर्ता, आपदा पदाधिकारी, प्रखण्ड विकास पदाधिकारी अंचलाधिकारी के साथ विधि व्यवस्था में प्रतिनियुक्त दण्डाधिकारी एवं अन्य मौजूद थे।