बिक्रमगंज प्रखंड क्षेत्र के इंद्रार्थ खुर्द गांव में शुक्रवार की रात चैता गायन कार्यक्रम का आयोजन किया गया। ढोलक, जालौर, मजीरा के धुन पर पारंपरिक चैता गीतों का ग्रामीणों ने खूब आनंद लिया।दुर्गाडीह टीम और कल्याणपुर टीम के ग्रामीण कलाकारों ने चैत मासे लिहले रामजी जन्मवा ए रामा समेत अन्य पारंपरिक चैता गीत गाकर लोगों को झूमने पर मजबूर कर दिया। इसके बाद ए रामा चैत मासे बाजेला बधाईआ ए रामा तथा कंठे सुरवा होखा न सहैया ए रामा आदि गीत प्रस्तुत कर समां बांध दिया।
कमलनारायण मिश्र उर्फ झूनझून मिश्र के नेतृत्व में आयोजित दोगोला चैता गायन कार्यक्रम में डा नागेंद्र जा महिला महाविद्यालय के प्राचार्य डा अमरेन्द्र मिश्र ने लोगों को संबोधित करते हुए कहा कि इस तरह के कार्यक्रमों से गांव में आपसी सौहार्द व भाईचारा बढ़ता है। समय-समय पर इस तरह के कार्यक्रमों को बढ़ावा देना आवश्यक है। ताकि समाज में फैली कटुता को पाटा जा सके। जैन कालेज आरा के प्रोफेसर डा शशीकांत मिश्र ने कहा कि होली के बाद से ही चैता गीतों का प्रचलन शुरू हो जाता है। चैता गीत हमारे संस्कृति का धरोहर है। इसकी रक्षा करना हमारा कर्तव्य है। कार्यक्रम के दौरान ग्रामीणों में खासा उत्साह देखा गया।
मुखिया प्रतिनिधि मिथिलेश मिश्र, पूर्व मुखिया अंकित मिश्र उर्फ बदन मिश्र, अधिवक्ता कुलदीप दुबे, अधिवक्ता कन्हैया मिश्र, चितरंजन मिश्र, दिनानाथ मिश्र सहित काफी संख्या में ग्रामीण उपस्थित थे। पूरी रात चले चैता गायन कार्यक्रम में लोगों ने पूरा आनन्द उठाया। दोनों टीमों के कला का लोगों ने काफी प्रसंशा की।