गाजीपुर। वाराणसी की एंटी करप्शन टीम ने गाजीपुर में चंकबदी के लेखपाल सूरज सिंह को रिश्वत लेते रंगे हाथ दबोच लिया। इसके बाद उसे कोतवाली लाकर आवश्यक धारा में मुकदमा पंजीकृत किया। बहरियाबाद के बबुरा निवासी विनय कुमार गौंड के आराजी नंबर 645 का संशोधन आदेश हुआ था। इसके बाद विनय अमल दरामद करने के लिए काफी दिनों से लेखपाल से कह रहा था। काफी मान-मनौव्वल करने पर भी उसने नहीं सुनी। लेखपाल ने काम करने के लिए दस हजार रुपये की मांग की। विनय ने लेखपाल से कहा कि यह रकम बहुत अधिक है। बावजूद इसके लेखपाल ने एक न सुनी और विनय का काम नहीं किया। इस पर विनय ने एंटी करप्शन की टीम से संपर्क किया।
एंटी करप्शन टीम जिला मुख्यालय पहुंच गई। विनय दस हजार रुपये लेकर तय स्थान जिलाधिकारी कार्यालय गेट नंबर दो के सामने विक्रम गुप्ता के चाय की दुकान पर गया। जहां लेखपाल के आते ही जैसे ही विनय ने रुपये दिया, एंटी करप्शन टीम ने रंगे हाथों पकड़ लिया। जब तक कुछ समझते टीम ने लेखपाल को उठाकर गाड़ी में बैठा लिया और सदर कोतवाली लेकर पहुंच गई। गिरफ्तार करने वाले टीम में टीम प्रभारी संध्या सिंह, निरीक्षक उपेंद्र सिंह यादव, विनोद कुमार यादव, मुख्य आरक्षी शैलेंद्र कुमार राय, सुनील कुमार यादव, पुनीत कुमार सिंह और चालक अश्वनी कुमार पांडेय रहे। निरीक्षक संध्या सिंह ने बताया कि चकबंदी के लेखपाल सूरज सिंह को रिश्वत लेते रंगे हाथ पकड़ा गया है। आवश्यक कार्रवाई के बाद लेखपाल को जेल भेज दिया गया। इस कार्रवाई से रिश्वतखोरी करने वालों में हड़कंप मचा हुआ है।