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51वीं विश्व पर्यावरण दिवस के अवसर पर जिला पदाधिकारी ने किया पौधरोपण

अरवल । 51वीं विश्व पर्यावरण दिवस के अवसर पर जिला पदाधिकारी अरवल वर्षा सिंह द्वारा उच्च विद्यालय किंजर के परिसर में आईटीबीपी के कंपनी संख्या 609 बी के कमान्डेंट विक्रम सिंह के साथ वृक्षरोपण किया गया। इस दौरान आईटीबीपी के सुरक्षा बलों ने भी विद्यालय परिसर में पौधा रोपण किया।

 

इस क्रम में जिला पदाधिकारी ने सभी से पर्यावरण के जिम्मेवारियों के प्रति सजग रहने की अपील की। इसके साथ ही उनके द्वारा बताया गया कि पर्यावरण को संतुलित रखने में पेड़ों की अहम भूमिका होती है। अतः इसका संरक्षण अत्यावश्यक है। उनके द्वारा बताया गया कि वर्तमान समय में लोगों को हीटबेव (लू) जैसी समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है जो कि वृक्षों की कमी का एक कारण है साथ ही समय पर वर्षा न होना भी पर्यावरण की प्रतिकूलता का एक प्रमाण है, जिसमें वृक्षों की भूमिका अहम है।

 

वर्तमान समय में लगभग सभी जगहों पर जलस्तर काफी नीचे चला गया है. जिसमें नदियों में पानी का न होना एक बड़ा कारक है। चूंकि संतुलित पर्यावरण से प्रत्येक मौसम समयानुसार क्रियान्वित होते है और वर्षा भी समय पर होती है. जिससे कि नदियों का जलस्तर बना रहता है एवं मनुष्यों के लिए पीने के पानी का स्तर भी ठीक रहता है, अतः पर्यावरण में अपनी भागीदारियों को समझें और ज्यादा से ज्यादा पेड़ लगायें व उनको सुरक्षित रखें। इस दौरान उनके द्वारा निजी वृक्षारोपण योजना से भी लोगों को अवगत कराया गया।

 

उन्होंने बताया कि मनरेगा जॉब कार्ड, आधार कार्ड, बैंक खाता, जमीन की रसीद, भूमि अधिकार प्रमाणपत्र एवं फोटोग्राफ के जरीये वे इस योजना का लाभ उठा सकते है, जिसमें एक यूनिट वृक्षारोपण योजना के तहत दो सौ पौधे प्रदान किये जायेंगे, जिसके लिए लाभार्थी के पास कम से कम 14 से 16 कट्ठा जमीन अवश्य होना चाहिए। वृक्षारोपण के साथ ही लाभार्थी को एक साल में 109 दिन का रोजगार भी मिलेगा। जिला पदाधिकारी द्वारा डीपीओ मनरेगा को निदेशित किया गया कि बच्चों के जन्म के अवसर पर एक पौधा उनके नाम से भी लगवाये, जिससे कि वृक्ष आच्छादित क्षेत्र बढ़ सके।

 

 

इस दौरान जिला पदाधिकारी द्वारा आईटीबीपी के कंपनी को स्वच्छ एवं भयमुक्त महौल में चुनाव संपन्न कराने के लिए मोमेंटो भी प्रदान किया गया साथ ही वृक्ष आच्छादित क्षेत्र बढ़ाने हेतु ग्रामीणों को पौधो का भी वितरण किया गया। ग्रामीणों द्वारा इस दौरान आईटीबीपी के कंपनी कमांडेन्ट एवं सुरक्षा बलों के साथ संवाद स्थापित किया गया एवं उनके द्वारा प्रयोग किये जाने वाले शस्त्रों से जुड़ी जानकारियाँ भी प्राप्त की।

Rajnish Ranjan
Author: Rajnish Ranjan

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