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राजद के परिवारवादी शासन सोच से नीतीश कुमार लौटे अपने पुराने घर – डॉ० मनीष

बिहार  की राजनीति में 28 जनवरी एक बार पुनः ऐतिहासिक पन्नों में दर्ज हो गया है। जहां सियासी हलचल के बीच मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने पाने पद से इस्तीफा देते हुए महागठबंधन नाता तोड़ अपने पुराने घर एनडीए में वापसी कर पुनः 9वीं बार बिहार के मुख्यमंत्री बनें। जो रविवार को उन्होंने अपना इस्तीफा बिहार राज्यपाल राजेंद्र आर्लेकर को सौंपते राजद गठबंधन पार्टी को अलविदा कह दिया।

 

इस अवसर पर भाजपा शिक्षक प्रकोष्ठ प्रदेश महामंत्री डॉ० मनीष रंजन ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के एनडीए में शामिल होने पर उन्हें बधाई देते हुए बताया कि नीतीश कुमार बिहार के विकास पुरुष व सुशासन बाबू के रूप में जाने जाते है। जिन्हें जनता एक अच्छी छवि और ईमानदार मुख्यमंत्री के रुप में भी मानती है।

 

लेकिन लंबे समय से एनडीए से अलग हो उन्होंने जब महागठबंधन का दामन थाम बिहार में विकास की बयार बहाने की योजना बना ही रहें थें कि राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव और उप मुख्यमंत्री तेजस्वी यादव के परिवारवादी शासन काल के बुने जाल में उन्हें फसाने की भनक मिलते ही उन्होंने अपनी राह बदल तत्काल महागठबंधन सरकार से इस्तीफा देते हुए अपने पुराने घर एनडीए परिवार के साथ डबल इंजन की सरकार के साथ बिहार में ऐतिहासिक विकास के लिए मुख्यमंत्री पद का शपथ लेते हुए एनडीए कार्यकर्ताओं के साथ कार्यभार को संभाला।

 

साथ ही बिहार के इतिहास में उनके द्वारा लिया गया यह निर्णय बिहार के जनहित विकास में काफी सराहनीय मना जा रहा है।

CHANDRAMOHAN CHOUDHARY
Author: CHANDRAMOHAN CHOUDHARY

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